
सीएमओ साहब क्यों नहीं कर रहे इंडियन हास्पिटल पर कार्यवाही
डी फार्मा, हाईस्कूल,इंटरमीडिएट किए लोग चला रहे हैं,इंडियन हास्पिटल मिंयागंज
15 साल का बच्चा लगाता है इंजेक्शन,वहीं रजिस्ट्रेशन के साथ फायर,पाल्यूशन भी नहीं
खबर दृष्टिकोण लखनऊ
आशीष कुमार सिंह विशेष संवाददाता
मिंयागंज उत्तर प्रदेश में जब से डिप्टी सीएम बृजेश पाठक नें स्वास्थ्य विभाग का मंत्रालय सभांला है तब से लेकर आज तक स्वास्थ्य विभाग में भले ही कितना भी सुधार हुआ हो, क्यों न स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को लापरवाही बरतनें पर निलंबन व स्थानानंतरण की लगातार कार्यवाही करते हुए नायक मूवी की स्टाइल में कार्यवाही करके वाहवाही लूटी जा रही हो।
लेकिन वहीं पर उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ के पड़ोसी जनपद उन्नाव के सीएमओ साहब इन सब डिप्टी सीएम बृजेश पाठक के द्वारा उठाए जा रहे स्वास्थ्य सबंधित ठोस कदम पर बिल्कुल अनभिग्ध हैं सीएमओ उन्नाव पर कोई फर्क पड़ता नहीं दिखाई पड़ रहा है। आपको बता दें उन्नाव जनपद में तहसील हसनगंज के मिंयागंज चौराहे पर पिछले दो वर्षों से बिना रजिस्ट्रेशन व जरूरी मानकों को दरकिनार कर के डी फार्मा किए व नाबालिक लड़कों के द्वारा ग्रामीणों को बहला फुसला कर मरीज भर्ती करके इलाज किया जा रहा है,यह भी नहीं कहा जा सकता है की पिछले दो वर्षों से मानकविहीन इंडियन हास्पिटल मिंयागंज चौराहे पर संचालित हो रहा है जिस पर सीएचसी अधीक्षक व क्षेत्रीय पत्रकारों की नजर ना पड़ी हो इंडियन हास्पिटल पर यह कहना ना मुमकिन है।
क्योंकी मिंयागंज चौराहे पर इंडियन हास्पिटल भले ही छ: बेड डालकर मरीजों को भर्ती कर के इलाज कर रहा हो लेकिन रोड पर लगे हास्पिटल के बोर्ड पर लखनऊ जनपद के कई मानेजाने डाक्टरों के नाम व उनके नाम के नीचें लिखी उनकी डिग्री लिखी देखकल जनता गुमराह हो जाती है जिसे देखकर ऐसा लगता है इंडियन हास्पिटल बहुत बड़ा हास्पिटल हो भले ही हास्पिटल के भीतर डाक्टर व पांच बेड हो साथ ही छोटी सी फार्मेसी के अलावा कुछ न हो लेकिन बाहर लगी इंडियन हास्पिटल की डिस्प्ले पर डाक्टरों के साथ ही सुविधाएं भी बड़े बड़े अक्षरों में लिखी हुई हैं जैसे वेंटीलेटर आईसीयू एनआईसीयू डायलसिस व एंबूलेंस जेसी सेवाएं 24 घंटे एमरजेंसी सेवाएं उपलब्ध होने की बात भले ही डिस्प्ले बोर्ड पर लिखकर दावा किया जा रहा हो लेकिन धरातल पर जाकर अगर सर्वे किया जाए तो बोर्ड पर लिखी सारी सुविधाएं झूठी साबित हो रही हों।
लेकिन फिर भी उन्नाव जिले में बैठे सीएमओ साहब इंडियन हास्पिटल द्वारा किये जा रहे कृत्यों से बिल्कुल अंजान बने हुए हैं, परंतु जो तरीका इंडियन हास्पिटल द्वारा अपनाया जा रहा है उस तरीके से वर्तमान सरकार पर सैकड़ों सवाल खड़े हो रहे हैं जो भविष्य में सरकार के ऊपर बहुत बड़ा ही तमाचे मारने जैसी बात साबित हो रही है।
क्योंकी इंडियन हास्पिटल के बारे में संपूर्ण जानकारी इकठ्ठा करनें के लिए आज सीएमओ साहब को करीब दस बार फोन किया गया लेकिन फोन न रिसीव करना यह एक कहीं ना कहीं सवाल खड़ा कर रहा है।