नए प्लॉट के बिजली कनेक्शन के लिए 35 रुपए पर स्क्वायर फिट के हिसाब से करना होगा भुगतान
लखनऊ। उत्तर प्रदेश का विद्युत विभाग यूं तो आए दिन किसी ना किसी वजह से चर्चा में बना रहता है कभी विजली कटौती की वजह से तो कभी लेट लतीफी की वजह से, कभी पैसे के लेनदेन को लेकर, कभी बिजली की कटिया लगावाने में सहयोग करने पर, कभी पेड़ों की कटिंग के नाम पर जड़ से कटवाने को लेकर, रखरखाव व मेंटेनेंस के पैसे की फिजूलखर्ची पर, अक्सर सरकार के विरोध में मुखर हो प्राइवेटाइजेशन का विरोध करने पर। अफसोस उपभोक्ताओं की समस्याओं को लेकर विद्युत विभाग नकारा ही साबित होता रहा।ताजा मामला लखनऊ के मोहनलालगंज क्षेत्र के नरपत गंज इलाके का है जहां पर थल सेना के पूर्व सूबेदार ने अपनी पत्नी रीना सिंह के नाम से नरपत गंज में 1350 स्क्वायर फिट का एक भूखंड लिया था। जिसमें बिजली कनेक्शन हेतु नरपतगंज से संबंधित पावर हाउस जो की पुरन पुर में स्थित है मकान बनाने हेतु कनेक्शन लेने के लिए जूनियर इंजीनियर मनोज से मिले नए कनेक्शन के बारे में उनसे बात की। उन्हें बताया गया की नरपत गंज जहां पर प्लॉट स्थित है उस क्षेत्र में बिजली कनेक्शन यूपी सरकार के विद्युत विभाग के 35 रुपए स्क्वायर फिट की योजना के तहत ही मिलेगा जिसमें की तकरीबन 47250 रुपए जमा करना होगा उसके बाद कनेक्शन शुल्क भरकर तब कनेक्शन मिलेगा अब अगर जनता को बिजली जैसी मूलभूत सुविधा के लिए भी 35 रुपए स्क्वायर फिट के हिसाब से पैसा देना पड़ेगा तो जनता का क्या होगा। ऐसी योजना बनाने का क्या लाभ जहां जनता की जेब कट जाए। जहां एक तरफ देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी देश के हर एक गांव को बिजली से रोशन करने की बात करते हैं वहीं दूसरी तरफ उत्तर प्रदेश विद्युत विभाग में ऐसे नियम बन जाते हैं की अगर कोई व्यक्ति अपना प्लॉट जो खरीद रखा उसपर बिजली कनेक्शन के लिए इतना लंबा चौड़ा भुगतान करना पड़ेगा। जबकि वहां रहने वाले लोगों ने पहले से कनेक्शन ले रखा।उत्तर प्रदेश विद्युत विभाग अधिकारी व ऊर्जा मंत्री श्रीकांत शर्मा को ऐसे नियमों में संशोधन करना चाहिए जिससे जनता की बिजली जैसी मूलभूत सुविधा को आसानी से मुहैया कराया जा सके। ऊर्जा मंत्री श्रीकांत शर्मा के लाख प्रयास के बावजूद उपभोक्ताओं की मुश्किलें कम होती नहीं दिख रही। नहीं विद्युत विभाग के अधिकारियों में इच्छा शक्ति दिख रही है कि वह आगे बढ़ उपभोक्ताओं की मुश्किलों को आसान हल दे। वैसे भी एक जगह पर कई सालों से जमे कर्मचारियों द्वारा विधुत विभाग की स्थिति सुधरने का नाम नहीं ले रही है। कामता सिंह मंडल मीडिया प्रभारी बीजेपी ने कहा एक उपयोगिता से इतनी बड़ी रकम अनुचित है। मनोज कुमार श्रीवास्तव ने कहा बिजली विभाग उपभोक्ताओं की मुश्किलें आसान नहीं बढ़ाने में रुचि लेता है। जहां इंजीनियर ने पत्र का हवाला देते हुए सुलभ योजना के तहत इस कार्रवाई को सही ठहराया वही मध्यांचल विद्युत वितरण खंड के अधिकारियों ने कहा ऐसी किसी तरह की कार्रवाई नहीं की जाती है टेंपरेरी कनेक्शन के लिए 450 रूपया सप्ताह के हिसाब से कनेक्शन दिया जाता है। बहरहाल जो भी हो इन नियमों के तहत एक आम गरीब उपभोक्ता कितना परेशान होता रहेगा।