लखनऊ खबर दृष्टिकोण | दीनदयाल उपाध्याय राज्य ग्राम्य विकास संस्थान द्वारा उत्तर प्रदेश राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के सहयोग से दो चरणों में 12 से13 जून तथा 15-16 जून को दो- दो दिवसीय आवासीय प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन किया जा रहा है। इस प्रशिक्षण कार्यक्रम के अंतर्गत प्रदेश के सभी जनपदों से राजस्व विभाग से अपर जिलाधिकारी (वित्त एवं राजस्व), सिंचाई विभाग के अधिशासी अभियंता, जिला कृषि अधिकारी, जिला पंचायत राज अधिकारी, जिला विकास अधिकारी एवं जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के आपदा विशेषज्ञों सहित कुल 450 प्रतिभागी 02 चरणों में प्रतिभाग कर रहे हैं।प्रशिक्षण कार्यक्रम के शुभारंभ के अवसर पर राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के वरिष्ठ सलाहकार ब्रिग्रेडियर प्रमोद कुमार सिंह ने सभी का स्वागत करते हुये कहा कि आज के इस तकनीकी युग में ऐसे प्रशिक्षण कार्यक्रम हमें समय के साथ अपडेट रहने में सहायक होते हैं, क्योंकि आपदा का क्षेत्र विविध, गतिशील एवं लगातार बदलता रहता है। राज्य प्राधिकरण ने जो प्रशिक्षण कार्यक्रमों जन जागरूकता अभियानों की श्रृंखला चलायी है, इससे हमें आपदाओं से होने वाली घटनाओं तथा हानियों को न्यून करने में सहायता मिलती है।प्रशिक्षण सत्रों के संचालन के दौरान विशेषकर तकनीकी सत्रों में भारतीय मौसम विभाग के निदेशक डा0 मनीष नालकर ने अपने संबोधन में कहा कि वर्तमान समय में मौसम विभाग चेतावनी के साथ उसके पड़ने वाले प्रभाव की सूचना भी प्रदान करता है। यह सभी सूचना आम जनमानस के लिये वेबसाइट पर भी निःशुल्क उपलब्ध है। सिंचाई विभाग के अधीक्षण अभियंता हरि ओम गुप्ता ने बाढ़ प्रबंधन न्यूनीकरण के लिये किये जा रहे सार्थक एवं सकारात्मक कार्यों पर चर्चा की |प्राधिकरण के प्रोजेक्ट एक्सपर्ट आशीष शर्मा ने राज्य स्तर पर बनाये गये फ्लड एक्शन प्लान एवं जनपद स्तर पर इसके क्रियान्वयन के बारे में बताया। साथ ही बाद तैयारी हेतु फ्लड़ स्कोर कार्ड जो विभागवार बाढ़ प्रबंधन तैयारी की समीक्षा में सहायक है, की जानकारी दी एवं रेन वॉटर हार्वेस्टिंग पर मिटिगेशन प्रोजेक्ट बनाने की विधि बतायी। कर्नल संजय श्रीवास्तव चेयरमैन क्रॉपसी ने उ०प्र० राज्य की वज्रपात के दृष्टिगत नाजुकता एवं इसके उपायों के बारे में बताया।
प्रशिक्षण के प्रथम सत्र के समापन के अवसर पर बी.डी चौधरी प्र0 अपर निदेशक संस्थान की अध्यक्षता में मुख्य अतिथि रामकेवल उप मुख्य कार्यपालक अधिकारी राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण उप्र द्वारा उपस्थित प्रतिभागी अधिकारियों को संबोधित करते हुये बताया कि आप सभी की प्रशासनिक व्यस्तताओं से मैं भली प्रकार अवगत हूँ, परन्तु संभावित आपदाओं के आने के पूर्व तैयारियों का जायजा लेना तथा आपदाओं के न्यूनीकरण में आप सभी की महत्वपूर्ण भूमिका है, जिसको प्राथमिकता के साथ निर्धारित नियमों के अंतर्गत परिपालन किया जाना है।
प्रशिक्षण कार्यक्रम के आयोजन व प्रबंधन के दृष्टिगत उत्तर प्रदेश राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की ओर से परियोजना निदेशक (सूखा प्रबंधन) डा० कनीज फातिमा, समस्त परियोजना एक्सपर्ट एवं दीन दयाल उपाध्याय राज्य ग्राम्य विकास संस्थान की ओर से प्रमुख भूमिका एस के सिंह, सहायक निदेशक, कंसलटेंट कुमार दीपक की होने के साथ-साथ, कार्यक्रम का संचालन एवं समन्वय प्रवीन किशोर, प्रोजेक्ट कोऑर्डिनेटर (ट्रेनिंग) द्वारा किया गया।
