रोहितसोनीजिला संवाददता जालौन उरई
उरई। जिला कृषि रक्षा अधिकारी गौरव यादव ने बताया कि कीटनाशी रसायनों की गुणवत्ता बनाये रखने के उद्देश्य से अभिलेखों का सत्यापन प्रत्येक कलेण्डर वर्ष के अन्त में कराना अनिवार्य होता है। जनपद जालौन के अधिकांश विक्रेताओं ने अपने अभिलेखों का सत्यापन नहीं कराया है। ऐसे सभी कीटनाशी विक्रेताओं को सूचित किया जाता है कि आप दिनांक 31.03.2022 तक किसी भी कार्य दिवस में जिला कृषि रक्षा अधिकारी , जालौन स्थान उरई के कार्यालय में स्टाॅक बिक्री पंजिका, बिल बुक एवं अनुज्ञा पत्र की मूल प्रति के साथ-साथ अपने स्टाॅक की उपलब्धता, वितरण एवं अवशेष सहित अभिलेखों का सत्यापन कराना सुनिश्चित करें। यदि कोई रसायन विक्रेता अपने अभिलेखों का सत्यापन कराये बिना ही रसायनों का व्यापार करते पाया जाता है तो सम्बंधित विक्रेता के विरूद्ध कीटनाशी अधिनियम 1968 यथा संशोधित अधिनियम 1971 एवं भारत राजपत्र नई दिल्ली द्वारा जारी अधिसूचनाओं की सुसंगत धाराओं के तहत कार्यवाही की जायेगी। जिसमें प्राथमिकी रिपोर्ट, लाईसेंस निलम्बन, दुकान/परिसर सील एवं वाद दायर तथा स्टाॅक सीज आदि की कार्यवाही की जायेगी। उक्त कार्यवाही में ऐसे भी कीटनाशक रसायन विक्रेताओं को चिन्ह्ति किया जायेगा जो अपना व्यापार स्वयं न कर अनभिज्ञ व्यक्तियों से कराकर कृषकों की फसल आदि को नुकसान पहुँचा रहे हैं।



