लखनऊ खबर दृष्टिकोण | उ प्र सहकारिता राज्यमंत्री जेपीएस राठौर द्वारा अवगत कराया गया कि मुख्यमंत्री की सर्वोच्च प्राथमिकताओं में शिकायतों के त्वरित गुणवत्तापूर्ण एवं समयबद्ध निस्तारण हेतु गठित आईजीआरएस और हेल्पलाइन की जारी ताजा रैंकिंग में अच्छा प्रदर्शन करने वाले टॉप टेन विभागों में सहकारिता विभाग प्राप्त शिकायतों के त्वरित, गुणवत्तापूर्ण एवं समयबद्ध निस्तारण कर प्रदेश में प्रथम स्थान पर है।सहकारिता मंत्री ने यह भी अवगत कराया कि सहकारिता आंदोलन को जमीनी स्तर पर सुदृढ़ कर मजबूत करने के उद्देश्य से सहकारिता मंत्रालय, भारत सरकार नई दिल्ली द्वारा निर्गत दिशा-निर्देशों के अनुरूप सहकारिता विभाग, उ० प्र० द्वारा राज्य स्तर पर मुख्य सचिव, उत्तर प्रदेश शासन की अध्यक्षता में 17 सदस्यीय स्टेट को-ऑपरेटिव डेवलपमेंट कमेटी (एससीडीसी) एवं जनपद स्तर पर संबंधित जिलाधिकारी कलेक्टर की अध्यक्षता में 15 सदस्यीय डिस्ट्रिक को-ऑपरेटिव डेवलपमेंट कमेटी (डीसीडीसी) का गठन कर दिया गया है। उक्त कमेटी में सहकारिता विभाग संयोजक तथा ए०पी०सी० शाखा के अन्य विभाग, नाबार्ड एवं बैंकिंग क्षेत्र की विशेषज्ञता प्राप्त संस्थाएं सदस्य है । राज्य स्तर पर गठित कमेटियों का दायित्व सभी ग्राम पंचायतों को बी- पैक्स या प्राथमिक डेयरी मत्स्य पालन सहकारी समितियों के द्वारा कवर कराया जाना, उक्त कार्य हेतु कार्य-योजना बनाना, उनकी समीक्षा करना तथा 05 वर्ष में प्रत्येक ग्राम पंचायत में कम से कम एक सहकारी समिति स्थापित करना, राष्ट्रीय सहकारी डेटाबेस को अद्यतन करना तथा उसे प्रसारित करना, नाबार्ड, एनडीडीबी, एनएफ डीबी, नेफस्कॉब, और फिशकॉप्फेड के साथ समन्वय करके आवश्यकता और व्यवहार्यता के अनुसार आकलन कर राज्य जिला स्तर पर संघ की स्थापना करने की कार्य योजना तैयार करना, प्राथमिक सहकारी समितियों के स्तर पर भारत सरकार की विभिन्न योजनाओं का अभिसरण सुनिश्चित कराते हुए सहकारी समितियों को जीवंत एवं आर्थिक रूप से सशक्त बनाना, पैक्स को सरकारी / ग्राम सभा भूमि के आवंटन सहित सहकारी समितियों के स्तर पर बुनियादी ढांचे के निर्माण के लिए सभी आवश्यक नीतिगत समर्थन प्रदान करना तथा राज्य और जिले स्तर पर कार्य योजना के कार्यान्वयन की प्रगति की निगरानी करना मुख्य दायित्व है ।