खबर दृष्टिकोण |
आलमबाग | आलमबाग रेलवे इंदौर अस्पताल में डियूटी दौरान गला रेत चतुर्थ श्रेणी कर्मी मौत मामले में पुलिस को 24 घंटे बाद भी कोई ठोस सुराग हाथ नहीं लगा जिससे पुलिस इस घटना के कोई निष्कर्ष पर पहुँच सके कि हत्या है या आत्महत्या | फ़िलहाल पुलिस साक्ष्य अभाव में इस घटना को आत्महत्या मान रही है | वहीँ शनिवार अपराह्न मृतक कर्मी के शव को पोस्टमार्टम बाद परिजनों को सौप दिया जिनका क्रियाकर्म वीआईपी रोड स्थित बैंकुंठ धाम में किया गया बड़े बेटे कैलाश ने मृतक पिता को मुखाग्नि दी | आलमबाग इंस्पेक्टर एसएस महादेवन ने बताया कि मामले में और गहराई से जाँच किया जा रहा है परिजन या रेलवे की ओर से पुलिस को कोई शिकायत नहीं मिला है और न ही पुलिस को अभी तक पोस्टमार्टम रिपोर्ट मिला है| बता दे कि 52 वर्षीय रजनी खंड निवासी मंशा राम पुत्र आदित्य राम रेलवे इंदौर अस्पताल में सीएमएस डॉ संगीता सागर का चपरासी था और शुक्रवार पूर्वाह्न डियूटी दौरान सीएमएस कक्ष के सामने ही बने कॉरिडोर में चाक़ू से गला रेतने का कारण दर्दनाक मौत हो गया था |
परिजनों ने मिडिया से बनाई दुरी |
इंदौर अस्पताल में हुई इस दर्दनाक घटना के बाद परिजन शुरू से ही मिडिया से कतरा रहे थे और खुलकर कोई वार्ता नहीं कर रहे थे शनिवार को भी मर्चरी के बाहर भी मिडिया से किनारा बनाते रहे देर शाम तक मीडियाकर्मियों ने परिजनों से काफी सम्पर्क करने का प्रयास किया लेकिन परिजन मिडिया के सामने नहीं आये |