ख़बर दृष्टिकोण लखनऊ।
उ.प्र. रेरा के प्रयासों से प्रोमोटर ‘मेसर्स सिक्का इन्फ्रस्ट्रक्चर प्रा.लि.’ की गौतम बुद्ध नगर स्थित ‘सिक्का कर्नम ग्रीन्स’ परियोजना के आवंटी “ राजिंदर सैनी” के पक्ष में प्राधिकरण से जारी ‘वसूली प्रमाण पत्र’ की वसूली सुनिश्चित कराते हुए आवंटी को ब्याज सहित निवेशित धनराशि लगभग रुपये 63 लाख 15 हजार उनके बैंक खाते में हस्तांतरित करा दिया गया। प्राधिकरण से जारी वसूली प्रमाण पत्रों की वसूली हेतु सम्बन्धित जिला प्रशासन द्वारा को प्रति माह पत्र के माध्यम से अवगत कराया जाता है जिससे उपभोक्ताओं को शीघ्र उनकी धनराशि दिलाई जा सके।*
महाराष्ट्र निवासी आवंटी राजिंदर सैनी ने प्रोमोटर की आवासीय परियोजना- ‘सिक्का कर्नम ग्रीन्स’ की एक इकाई हेतु वर्ष 2013 में लगभग रुपये 37 लाख 62 हजार का भुगतान किया था। ‘एग्रीमेन्ट फॉर सेल’ के अनुसार आवंटी को वर्ष 2017 तक कब्जा प्राप्त होना था। लेकिन तय समय तक इकाई का कब्जा न मिलने और संतोषजनक निर्माण प्राप्त न होने की स्थिति में आवंटी ने 2019 में उ.प्र. रेरा में शिकायत (NCR144/05/0944/2019) दर्ज करके ब्याज सहित निवेशित धनराशि वापस दिलाने की मांग की थी। सुनवाई में पारित आदेश आवंटी के पक्ष में आया था जिसका अनुपलान प्रोमोटर द्वारा किया जाना था।
आदेश का अनुपालन न होने पर मानक प्रक्रिया के अनुसार आवंटी के पक्ष में वसूली प्रमाण पत्र जारी किया गया और जिला प्रशासन द्वारा वसूली की प्रक्रिया पूरी करते हुए आवासीय इकाई बुक करने के लगभग 10 वर्ष बाद आवंटी को मूल धनराशि व ब्याज सहित लगभग रुपये 63 लाख 15 हजार का भुगतान उनके द्वारा दिए गए बैंक खाते में जमा कर दिया गया।
