आगरा, । नशा मुक्ति केंद्र में इलाज के दौरान अमानवीय व्यवहार से आक्रोशित मरीज ने वहां से छुट्टी के बाद बेटे के साथ फिल्मी अंदाज में साजिश रची। बेटे ने रविवार की आधी रात को स्टाफ को फोन करके घर बुलाया। स्टाफ ने गली में पड़े मरीज को उठाने का प्रयास किया। उसने फायरिंग कर दी, स्टाफ जान बचाने बेटे की ओर भागा तो उसके हाथ में भी तमंचा देख होश उड़ गए। पिता-पुत्र की ताबड़तोड़ फायरिंग से स्टाफ में भगदड़ मच गई। दोनों ने एक कर्मचारी की जमकर धुनाई कर दी। पिता-पुत्र के खिलाफ जगदीशपुरा थाने में मुकदमा दर्ज किया गया है।जगदीशपुरा के बिचपुरी निवासी मुकेश को स्वजन ने नशे की लत छुड़ाने के लिए जुलाई में सिकंदरा हाईवे स्थित नशा मुक्ति केंद्र में भर्ती कराया था। यहां तीन सप्ताह से ज्यादा भर्ती रहा। इस दौरान वहां भर्ती कुछ युवकों और स्टाफ ने उससे अमानवीय व्यवहार और मारपीट की। एक सप्ताह पहले मुकेश को नशा मुक्ति केंद्र से छुट्टी मिली। उसने बेटे अभिषेक उर्फ जितेंद्र को अपने साथ हुई घटना की जानकारी दी।इंस्पेक्टर जगदीशपुरा राजेश कुमार पांडेय ने बताया पिता-पुत्र ने साजिश रची। अभिषेक ने रविवार की देर रात केंद्र पर फाेन करके बताया कि पिता नशे में हंगामा कर रहे हैं। उन्हें केंद्र में दाेबारा भर्ती कराने की कहा।स्टाफ ने वाहन की समस्या बताई तो अभिषेक ने टैक्सी बुक करने के लिए आठ सौ रुपये पेटीएम से ट्रांसफर कर दिए। उसे अपने घर की लोकेशन भेज दी।केंद्र से राजकुमार, परमेंद्र समेत चार लोग मुकेश को लेने रवाना हो गए।इधर, अभिषेक ने पिता मुकेश को घर से कुछ दूर गली में लिटा दिया। जिससे लगे कि वह नशे की हालत में पड़ा है। मुकेश ने पेट के नीचे तमंचा छिपा रखा था। जबकि अभिषेक दरवाजे पर तमंचा लेकर खड़ा हो गया। स्टाफ टैक्सी को गली के बाहर खड़ी करके मुकेश के घर पहुंचा। अभिषेक ने स्टाफ से मुकेश की ओर इशारा कर दिया। स्टाफ ने मुकेश को जैसे ही पलटा, उसने फायर कर दिया।जिससे स्टाफ में अफरातफरी मच गई। वह मदद के लिए अभिषेक की ओर भागा तो उसने भी फायर कर दिया।इससे स्टाफ दहशत में आ गया। तब तक पिता-पुत्र ने उस पर ताबड़तोड़ फायरिंग शुरू कर दी।स्टाफ को अपनी जान बचाकर वहां से भागने लगा। इस दौरान एक कर्मचारी राजकुमार कांटे की बाड़ में उलझकर गिर गया। पिता-पुत्र उसकी जमकर पिटाई लगाने के बाद भाग खड़े हुए। इंस्पेक्टर ने बताया मुकेश और अभिषेक उर्फ जितेंद्र पिता-पुत्र के खिलाफ जानलेवा समेत अन्य धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है।आरोपितों की गिरफ्तारी के प्रयास किए जा रहे हैं।पुलिस की छानबीन में सामने आया नशा मुक्ति केंद्र में 22 लोग अपना इलाज करा रहे हैं। केंद्र के संचालक राजकुमार हैं। मुकेश को सबसे ज्यादा वहां भर्ती मोहन ने परेशान किया था। पिता-पुत्र का मुख्य निशाना मोहन था। मगर, वह स्टाफ के साथ नहीं आया था।
