मापदंड पर खरे नहीं उतर रहे निजी नर्सिंग होम व पैथ लैब, हो रही खानापूरी
ख़बर दृष्टिकोण लखनऊ
आशीष कुमार सिंह विशेष संवाददाता

(डॉक्टर सुधांशु अंशिका अस्पताल संचालक)
लखनऊ- मुख्यालय सहित जिले के विभिन्न क्षेत्रों में अवैध नर्सिंग होम, पैथ लैब व अल्ट्रासाउंड का धड़ल्ले से संचालन हो रहा है. जिसमें आये दिन मरीजों के जीवन से खिलवाड़ किये जाने की बात सामने आती रही है।विस्तृत सूत्रों से पता चला है कि शहर में खुले प्राइवेट अस्पताल शासन के निर्देशों की धज्जियां उड़ा रहे हैं। खुलेआम गैर कानूनी काम को अंजाम देकर प्रशासन को चुनौती दे रहे हैं। इन पर रोकथाम के लिए प्रशासन ने योजना बनाई थी, जबकि वह औंधे मुंह गिरी दिख रही है। संचालक हर काम बेखौफ होकर कर रहे हैं जो शासन की निगाह में गैर कानूनी है। और एक ही डाक्टर द्वारा कई अस्पतालों में जाकर इलाज किया जा रहा है। हैरान कर देने वाली बात यह है कि इन नर्सिंग होमो में ना ही आपको एंबुलेंस की व्यवस्था मिलेगी और ना ही स्ट्रेचर और ना ही व्हीलचेयर उसके बावजूद भी इन हॉस्पिटलों में इमरजेंसी केस बड़ी आसानी से ले लिए जाते हैं। और एक नहीं अनगिनत अस्पतालों मे अप्रशिक्षित स्टाप की भरमार है जो आए हुए मरीजों के अनमोल जीवन से खिलवाड़ कर रहे हैं।लगातार एक सप्ताह से अस्पतालों में फैले भ्रष्टाचार को लेकर खबरें प्रकाशित की जा रही हैं परन्तु जिम्मेदार अधिकारियों पर कोई प्रभाव नहीं पड़ रहा है।वह कुम्भकरणी निद्रा में सो रहे हैं।उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री व स्वास्थ्य मंत्री ब्रजेश पाठक से कार्यवाही की उम्मीद की जा रही है। अब देखना यह है की भ्रष्टाचार के अंत के लिए सरकार क्या कदम उठाती है।
नर्सिंग होम संचालन के लिए क्या है मापदंड
क्लीनिकल एस्टेब्लिशमेंट एक्ट के तहत रजिस्ट्रेशन कराना अनिवार्य होता है. इसके बाद नर्सिंग होम संचालन के लिए स्पेशलिस्ट डॉक्टर, प्रशिक्षित असिस्टेंट, ए ग्रेड स्टाफ नर्स, हवादार भवन, दो गेट, खिड़की युक्त मरीज का कमरा, हाइजिनिक साफ-सफाई, प्रदूषण मुक्त वातावरण, अग्निशमन का प्रबंधन, बायो मेडिकल वेस्ट के साथ-साथ वार्ड बॉय, साफ सुथरा वाशरूम एवं बैठने के लिए हवादार जगह अनिवार्य है. इन मानदंडों पर दो चार नर्सिंग होम को अपवाद में छोड़ दें तो शायद ही कोई पूरा करता दिखता है।
