कृष्णा नगर कोतवाली इलाके का मामला,
लखनऊ,
कृष्णा नगर के एलडीए कॉलोनी रिहायशी क्षेत्र में संचालित एक फर्नीचर फैक्ट्री में शुक्रवार दोपहर अचानक शार्ट सर्किट से आग लग गई। फैक्ट्री में आग लगने से हड़कंप मच गया। वहीं फैक्ट्री में काम कर मजदुर भाग खड़े हुए |सूचना पाकर मौके पर पहुंची तीन दमकल की गाड़ियों ने काफी मशक्कत बाद आग पर काबू पा लिया गया । लेकिन तब तक फैक्ट्री में रखा लाखों का सामान जलकर खाक हो गया लेकिन किसी प्रकार कोई जान माल का नुकसान नहीं हुआ है |
कृष्णा नगर कोतवाली इलाके के एलडीए कॉलोनी सेक्टर डी1 के मकान संख्या बी 1/22 में पिछले पांच वर्षो से किराये पर मकान लेकर रिहायशी क्षेत्र में श्रीनगर आलमबाग निवासी नन्दलाल पुत्र स्व सीताराम ने अपना फर्नीचर की फैक्ट्री संचालित कर रखा है | शुक्रवार दोपहर करीब 12 बजे अचानक शार्ट सर्किट से फैक्ट्री के दूसरे तल पर आग लग गई। देखते देखते आग ने विकराल रूप धारण कर लिया वहीं भीषण आग देख फैक्ट्री में काम कर रहे मजदुर अपनी जान बचाने के लिए भाग खड़े हुए | भीषण आग देख कॉलोनी वासियो में हड़कंप मच गया जिसकी सुचना कंट्रोल नंबर पर पुलिस को दी गई |स्थानीय लोगों की सूचना पर दो आलमबाग व एक सरोजनीनगर से पहुंची दमकल की गाड़ियों ने काफी मशक्कत के घंटे भर में आग पर काबू पा लिया। लेकिन तब तक फैक्ट्री में रखा लाखों का सामान जलकर खाक हो गया। वहीं फैक्ट्री के मैनेजर के सी त्रिपाठी ने बताया कि फैक्ट्री में पांच कर्मचारी हैं और काम अधिक होने पर बाहर से कारीगर बुलाएं जाते हैं|
फैक्ट्री में नहीं लगे है आग पर काबू पाने के उपकरण ,
एलडीए कॉलोनी के रिहायशी क्षेत्र में वर्षो से संचालित फैक्ट्री में ऐसी स्थितियों से निपटने के लिए कोई इंतजमात नहीं उपलब्ध है यहाँ तक की आग पर काबू पाने के लिए फायर के छोटे सिलेंडर भी नहीं लगे है | शायद फायर के सिलेंडर लगे होते तो आग पर तुरंत काबू पाया जा सकता था और आग विकराल रूप नहीं लेता |
पड़ोसी ने आवासीय क्षेत्र में संचालित फैक्ट्री को लेकर कई बार की थी शिकायत लेकिन कोई कार्यवाही नहीं किया गया ,
एलडीए कॉलोनी के सेक्टर डी1 में फैक्ट्री के बगल में ही रहने वाले राकेश ने बताया कि आवासीय क्षेत्र में संचालित फैक्ट्री की शिकायत और उसे हटाए जाने की मांग को लेकर कई बार नगर निगम में लिखित शिकायत किया लेकिन मौके पर पहुंचे नगर निगम के सक्षम अधिकारी और पुलिस कर्मी फैक्ट्री तक आते और वापस लौट जाते थे लेकिन फैक्ट्री के खिलाफ कोई कार्यवाही नहीं गया |