बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे पर खड़े ट्रक से बस की जोरदार टक्कर हो गई। इस हादसे में चालक की मौत हो गई, जबकि 22 श्रद्धालु घायल हो गए। इनमें से चार की हालत गंभीर देखते हुए कानपुर रेफर किया गया।हाथरस से श्रद्धालुओं को लेकर एक मिनी बस वाराणसी की ओर से जा रही थी। बस में 22 लोग सवार थे। शनिवार की सुबह पांच बजे हमीरपुर-महोबा जनपदों की सीमा से गुजरने वाले बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे पर खन्ना के पास खराब खड़े ट्रक में बस टकरा गई।टक्कर इतनी तेज थी कि बस के परखच्चे उड़ गए। बस में सवार लोगों में चीख पुकार मच गई हादसे में हाथरस के मिताई गांव निवासी चालक प्रताप सिंह (35) की मौके पर ही मौत हो गई। वहीं 22 श्रद्धालु घायल हो गए। उन्हें एक्सप्रेसवे अथॉरिटी ने एम्बुलेंस से मौदहा स्थित सीएचसी भेजा।यातायात नियमों का पालन न करने के कारण बस चालक प्रताप को अपनी जान गंवानी पड़ी। वहीं बस सवार 22 श्रद्धालु घायल हो गए। घायल श्रद्धालु शंभूनाथ महेश्वरी ने बताया कि वह बस में आगे बैठे थे। उन्होंने चालक को झपकी आने पर बस रोकने को कहा।इस पर वह नहीं माना और बात को अनसुना कर चलने लगा। शनिवार तड़के जब सभी लोग सो रहे थे। तभी यह हादसा हो गया। अचानक नींद खुलने पर किसी को कुछ समझ नहीं आया कि क्या हो गया। बताया कि सभी नाते रिश्तेदार चित्रकूट, प्रयागराज, वाराणसी व अयोध्या के दर्शन को जा रहे थे।यूपीडा के मुख्य सुरक्षा अधिकारी अनिल सिंह व सुरक्षा अधिकारी राम अवतार यादव ने बताया कि रात में नमक से लदे ट्रक की सापट जाम हो गई थी। जिसकी सूचना मिलने पर उन्होंने क्रेन से खिंचवाकर उसे साइड में खड़ा करा दिया था। वहीं सुबह यह हादसा हो गया जिस पर घायलों को यूपीडा की एंबुलेंस से मौदहा सीचसी भेजा गया।घायलों के पहुंचते ही जिला अस्पताल की इमरजेंसी में मौजूद डा. महेंद्र ने इमरजेंसी सायरन बजाया। जिस पर कुछ ही समय बाद डाक्टर व कर्मचारियों ने मौके पर पहुंच घायलों का इलाज शुरू किया। वहीं सदर कोतवाल दुर्ग विजय सिंह भी पुलिस बल के साथ मौजूद रहे।घायल अंकित के गंभीर चोटें होने के चलते उन्हें जिला अस्पताल में एक्सरे के लिए ले जाया गया। उनके साथ मौजूद उनकी छह वर्षीय बेटी माही पिता को कराहते देख परेशान दिखी।