Breaking News

पीजीआई में जन्म, मृत्यु अधिनियम के पंजीकरण पर सिद्धांत एवं व्यवहार पर हुई संगोष्ठी

 

 

लखनऊ। संवाददाता रघुनाथ सिंह खबर दृष्टिकोण।

 

जन्म और मृत्यु का पंजीकरण कराना व्यवहारिक और जरूरी प्रक्रिया।

 

किसी भी व्यक्ति का जन्म और मृत्यु का पंजीकरण होना एक व्यवहारिक और जरुरी प्रक्रिया है। इस प्रक्रिया को अनिवार्य रूप से ऑनलाइन माध्यम से पूरे भारत में लागू किया गया है। जन्म और मृत्यु के पंजीकरण से आबादी का डेटा भी सुरक्षित होता है, जिससे उस शहर से लेकर देश की आबादी की सही जानकारी प्राप्त होती है। व्यक्ति के बारे में भी सही विवरण परिवारीजनों से लेकर सरकार तक के पास सुरक्षित रहता है। यह जानकारी शनिवार को पीजीआई के अस्पताल प्रशासन विभाग के प्रमुख डॉ. राजेश हर्षवर्धन ने

जन्म, मृत्यु अधिनियम के पंजीकरण पर सिद्धांत एवं व्यवहार संगोष्ठी पर दी। वक्ताओं ने जन्म, मृत्यु के पंजीकरण की व्यक्ति के जीवन में उपयोगिता और लाभ के बारे में जागरूक किया।

 

पीजीआई निदेशक डॉ. आरके धीमन ने कहा कि अस्पताल डॉक्टर व कर्मचारियों जन्म और मृत्यु के प्रमाण पत्र को निर्गत करने में तमाम प्रकार की सावधानी बरतनी चाहिए। कानूनी प्रावधानों की जानकारी दी। इस मौके पर पीजीआई के सीएमएस डॉ. गौरव अग्रवाल, निदेशक और संयुक्त रजिस्ट्रार जनरल सिविल रजिस्ट्रेशन सिस्टम आईएएस शीतल वर्मा, निदेशक पीजीआई डॉ. आरके धीमन, डीसीओ सीआरएस सहायक निदेशक डॉ. गौरव पांडेय, डीसीओ आईटी उप निदेशक अनुपम सिंह सोमवंशी, राज्य सलाहकार यूनिसेफ डॉ. आकांक्षा पटेल, टाटा मेमोरियल सेंटर से डॉ. शारवरी महापंकर समेत अन्य लोग मौजूद रहे।

About Author@kd

Check Also

2 से 24 सितंबर तक चलेगा कुष्ठ रोगी खोजी अभियान 

  ख़बर दृष्टिकोण लखनऊ गंगा चरण। गोशाईगंज लखनऊ।कुष्ठ रोगी खोजी अभियान 2 से आरंभ होकर …

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!